दिन प्रतिदिन कोरोना का कहर बढ़ता जा रहा है, जो कई लोगों के परिवारों को तोड़ रहा है। इस कोरोना महामारी (Corona epidemic) के दौर में सभी लोग डरे हुए हैं, क्योंकि ये कोरोना वायरस (Corona virus) किसी को भी कब अपनी चपेट में ले लेगा ये किसी को नहीं पता। देश में ऐसा भी देखा जा रहा है कि कोरोना वैक्सीन (Corona vaccine) की दोनों डोज पूरी कर लेने के बाद भी लोगों को कोरोना हो रहा है। जिससे उनकी मृत्यु भी हो जाती है। ऐसा ही कुछ हुआ है पद्मश्री डॉक्टर केके अग्रवाल (Padmashree Doctor KK Aggarwal) के साथ, जो कुछ दिनों से कोरोना से जंग लड़ रहे थे और अंत में उनकी मृत्यु हो गई। बता दें कि पद्मश्री डॉक्टर केके अग्रवाल (Padmashree Doctor KK Aggarwal) ने कोरोना वैक्सीन की दोनों डोज ले ली थी। जिसके बाद भी कोरोना वायरस ने उन्हें अपने चपेट में ले लिया। सरकार कोरोना का वैक्सीन लगाने की जनता से अपील कर रही है, हालांकि वैक्सीन (Corona vaccine) लगने के बाद बहुत कम ही लोग हैं, जिन्हें कोरोना संक्रमण अपनी चपेट में ले रहा है, लेकिन अगर किसी व्यक्ति को वैक्सीनेशन पूरी हो जाने के बाद भी संक्रमण होता है, तो ऐसे में उनकी मौत भी हो रही है। इसलिए इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता कि वैक्सीनेशन (vaccination) पूरी हो जाने के बाद मृत्यु नहीं होगी।
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पद्मश्री डॉ. केके अग्रवाल का कोरोना से हुई मृत्यु
डॉक्टर केके अग्रवाल (Padmashree Doctor KK Aggarwal) को पूरा देश जानता है, जिन्हें पद्मश्री से भी नवाजा गया है। इस कोरोना महामारी के दौर में पद्मश्री डॉ केके अग्रवाल (Padmashree Doctor KK Aggarwal) लगातार एक्टिव रहे और लोगों को कोरोना वायरस से संबंधित जानकारियां दे रहे थे। जिससे काफी लोगों को मदद भी मिली है, लेकिन आज उनका निधन हो गया। जिन्हें कोविड-19 की दोनों वैक्सीन (Corona vaccine) लग चुकी थी। बावजूद इसके वह कोरोना वायरस की चपेट में आ गए। डॉक्टर केके अग्रवाल (Padmashree Doctor KK Aggarwal) कुछ समय से कोरोना संक्रमण से जंग लड़ रहे थे, लेकिन आज उनका निधन हो गया। डॉक्टर के के अग्रवाल (Padmashree Doctor KK Aggarwal) अपने हॉस्पिटल के साथ-साथ सोशल मीडिया पर भी काफी एक्टिव रहे, जो लगातार कोरोना वायरस को लेकर लोगों के मन में उठने वाले सवालों से संबंधित वीडियो क्लिप सोशल मीडिया में पोस्ट करते थे। जिससे लोगों को काफी मदद मिली थी। उन्होंने अपना एक टोल फ्री नंबर भी जारी किया था, जिसमें फोन लगाकर लोग अपनी समस्याओं को उन्हें बताते और डॉक्टर केके अग्रवाल (Padmashree Doctor KK Aggarwal) उन्हें बीमारी से संबंधित सलाह भी देते थे।
Corona Vaccination को लेकर लोगों में देखा जा रहा डर
कोरोना संक्रमण के पहले स्टेज (First stage of corona infection) में यह वायरस ग्रामीण इलाकों तक नहीं पहुंचा था, लेकिन दूसरे स्टेज में यह गांव गांव गली मोहल्लों तक पहुंच चुका है। ऐसे में कोरोना वायरस पर काबू पाना बेहद मुश्किल हो रहा है। हालांकि पूरे देश में वैक्सीनेशन (vaccination) का कार्य शुरू हो चुका है, लेकिन इसे भी लेकर अब लोगों में डर दिखाई दे रहा है। कोविड वैक्सीनेशन का उद्देश्य है कि लोगों को कोरोना वायरस से बचा सके, लेकिन ऐसा नहीं है कि वैक्सीनेशन (vaccination) पूरी हो जाने के बाद व्यक्ति को दोबारा कोरोना नहीं होगा। वैक्सीनेशन (vaccination) के बाद भी लोगों को उतनी ही सावधानी बरतनी होगी, जितनी पहले बरतनी होती थी, लेकिन इन दिनों वैक्सीनेशन की दोनों डोज लेने के बाद भी कोरोना वायरस से लोगों की मृत्यु हो जाने के बाद लोगों में वैक्सीनेशन को लेकर डर समां गया है। जिसे दूर करना बेहद जरूरी है।
कोरोना वैक्सीनेशन के बाद भी मृत्यु होने का ये है कारण
कोरोना वैक्सीन लोगों के शरीर में एंटी बॉडीज बनाने का कार्य करता है। अगर किसी व्यक्ति को वैक्सीनेशन की दोनों डोज लेने के बाद भी कोरोना हो रहा है, तो ऐसे लोगों में बहुत कम ही कोरोना के लक्षण देखे जा रहे हैं और वे जल्द ही ठीक भी हो रहे हैं, लेकिन इस बात से बिल्कुल भी इनकार नहीं किया जा सकता कि वैक्सीनेशन (vaccination) के बाद लोगों की मृत्यु नहीं होगी। वैक्सीनेशन (vaccination) की दोनों डोज पूरी हो जाने के बाद भी कोरोना वायरस से लोग संक्रमित हो रहे है। ऐसे में डॉक्टर्स ने कहा है कि अगर किसी व्यक्ति में वैक्सीनेशन (vaccination) के बाद एंटीबॉडी (Antibodies) नहीं बन पाती या फिर ना के बराबर बनती है, तो ऐसे में उन्हें फिर से कोरोना हो सकता है। साथ ही कई लोग पहले से बीमारियों से ग्रसित है, ऐसे लोगों का वैक्सीनेशन हो जाने के बाद शरीर की सहन शक्ति कमजोर हो जाती है। इस बीच यदि ऐसे व्यक्ति कोरोना से पीड़ित (Suffering from corona) होते है तो उन्हें बचा पाना मुश्किल हो जाता है।
कोविड से ठीक हुए मरीजों को हो रही कई तरह की परेशानियां
अपोलो हॉस्पिटल (Apollo Hospital) के सीनियर इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजिस्ट (Senior interventional cardiologist) प्रोफेसर डॉक्टर विवेक गुप्ता (Professor Dr. Vivek Gupta) ने जानकारी देते हुए बताया है कि वैक्सीन में 100 फीसदी एफीकेसी नहीं है। लोगों को लगता है कि वैक्सीन लगने से उन्हें कोविड-19 नही होगा, लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं है। बता दे कि कोविशील्ड वैक्सीन (Covshield vaccine) में 80 प्रतिशत, तो वहीं को-वैक्सीन (Co-vaccine) में 90 फीसदी ऐफीकेसी है। जो लोगों के शरीर में जाने के बाद एंटीबॉडी का निर्माण (Antibody formation) करती है और यही कोरोना से लड़ने की क्षमता रखती है। कोरोना वायरस में पहले स्टेज में ज्यादा लोगों को संक्रमित करने की क्षमता कम थी। लेकिन दूसरे स्टेज में यह अधिक से अधिक लोगों को संक्रमित करने की क्षमता रखता है। इन दिनों कोरोना संक्रमित मरीज के ठीक हो जाने के बाद उनमें कई तरह की नई बीमारियां और परेशानी देखी जा रही है।
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कोरोना का लक्षण दिखने के बाद जल्द शुरू करें इलाज
डॉक्टर्स का कहना है कि कोरोना संक्रमित लोग जल्द से जल्द अपना इलाज शुरू करवाए। इसमें देरी होने पर यह समस्या का रूप ले लेती है। वही ऐसे लोग जो अन्य तरह की बीमारियों से ग्रसित है, जैसे- बीपी, शुगर, हार्ट से संबंधित बीमारी आदि तो उन्हें बहुत सावधानी से रहना होगा। ऐसे व्यक्ति को अगर कोरोना वायरस होता है तो बचा पाना बेहद मुश्किल हो जाता है। वहीं समय पर इलाज मिलने से लोग जल्द ही स्वस्थ हो रहे हैं।